मुख्य सचिव ने मोतीपुर स्थित मेगा फूड पार्क तथा बेला इंडस्ट्रियल एरिया स्थित बैग क्लस्टर, टेक्स्टाइल क्लस्टर तथा जीविका द्वारा संचालित दीदी की रसोई का लिया जायजा

ध्रुव कुमार सिंह, मुजफ्फरपुर, बिहार, ११ दिसम्बर
मुख्य सचिव, बिहार, अमृतलाल मीणा ने मुजफ्फरपुर जिले के मोतीपुर स्थित मेगा फूड पार्क तथा बेला इंडस्ट्रियल एरिया स्थित बैग क्लस्टर, टेक्स्टाइल क्लस्टर तथा जीविका द्वारा संचालित दीदी की रसोई का जायजा लिया। मुख्य सचिव के साथ उद्योग निदेशक आलोक रंजन घोष, कार्यकारी निदेशक बियाडा चंद्रशेखर सिंह, अपर मुख्य कार्यपालक पदाधिकारी जीविका अभिलाषा शर्मा, जिलाधिकारी सुब्रत कुमार सेन सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे। मुख्य सचिव ने मोतीपुर में 143 एकड़ में फैले भू-भाग पर फूड प्रोसेसिंग यूनिट के रूप में मेगा फूड पार्क का निरीक्षण किया। इसमें दो वेयरहाउस बन रहा है, एक लीची चैंबर, एक बनाना चैंबर तथा 10 माइक्रो शेड है, जिसमें फूड प्रोसेसिंग से संबंधित कार्य आवंटित किए जाएंगे। मुख्य सचिव ने कार्य में तेजी लाने तथा शीघ्र पूरा कर काम शुरू करने का निर्देश दिया। इसके बाद मुख्य सचिव नें बेला इंडस्ट्रियल एरिया स्थित बैग क्लस्टर का भ्रमण कर जीविका दीदियों से बातचीत कर उनके द्वारा किये जा रहे कार्य, सरकारी सहायता एवं रोजगार से उनके जीवन में आये बदलाव एवं आर्थिक प्रगति की जानकारी प्राप्त की। बैग क्लस्टर में 10 क्लस्टर हैं तथा 53 शेड बनाया गया है, इसमें निजी कंपनी का दो शेड है तथा जीविका दीदी का 42 शेड है। एक शेड में 25 मशीन कार्यरत है। एक उद्यमी दीदी को 25 मशीन दिया गया है। जीविका दीदी खुद उद्यमी है जो बैग का निर्माण कर निजी कंपनी को बेचती है तथा निजी कंपनी जीविका दीदी द्वारा निर्मित बैग को मार्केट में सेल करता है। इस प्रकार जीविका दीदी न केवल एक उद्यमी के रूप में कार्य कर रही हैं बल्कि स्थानीय स्तर पर बैग उपलब्ध करा रही है तथा आय अर्जन कर आर्थिक रूप से सशक्त हो रही है। गौरतलब है कि उद्योग विभाग के सहयोग से निजी बैग कंपनी के साथ जीविका दीदी के उद्योग को जोड़ा गया है। जीविका दीदी को उद्योग खोलने के लिए महिला उद्यमी योजना से 10-10 लाख रुपए दिये गये हैं। मुख्य सचिव ने तिरहुत जीविका महिला बैग प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड की महिला उद्यमियों से वार्ता करते हुए कहा कि उनके कौशल का ज्यादा से ज्यादा विकास हो। बैग इनके खादी मॉल के साथ ही अन्य प्राइवेट मॉल में भी बिके। इसकी भी रणनीति बनाने की आवश्यकता है साथ ही सरकारी स्कूलों के बैग पुलिस और होमगार्ड की वर्दी के साथ ही अग्निशमन विभाग की वर्दी को पायलट फेज में जीविका दीदी के द्वारा बनवाया जाए। इसके साथ इसका निरंतर विकास होता रहे ताकि कंपनी शेयर बाजार में लिस्टेड हो सके और अगले 2 सालों में इसका आईपीओ बाजार में आ सके। श्री मीणा नें इस दौरान दीदी की रसोई में दीदी के हाथों बने चाय और पकोड़े का स्वाद लिया। इसके साथ ही दीदी की रसोई के व्यापार को किस तरह से बढ़ाया जा सके, इसके लिए उपस्थित अधिकारियों को दिशा निर्देश दिया। इसके साथ ही जीविका समूह से जुड़ने वाली दीदियों को किस तरह से दूसरी सरकारी योजनाओं का लाभ मिल रहा है। इसके बारे में भी दीदी की रसोई और बैग क्लस्टर में काम करने वाली दीदियों से उज्ज्वला योजना, बीमा योजना, आवास , पेंशन, नल-जल योजना के साथ ही सभी सरकारी योजनाओं का लाभ किस तरह से दीदियों को मिल रहा है। मुख्य सचिव ने दीदी की रसोई का भी भ्रमण कर उसके संचालन एवं भोजन की गुणवत्ता की जानकारी प्राप्त की। इसमें जीविका दीदी के बच्चों के लिए पालना घर भी बना हुआ है। तत्पश्चात मुख्य सचिव द्वारा बेला इंडस्ट्रियल एरिया स्थित टेक्स्टाइल क्लस्टर का भी भ्रमण किया गया तथा इस इकाई के उत्पादन, रोजगार की स्थिति का जायजा लिया तथा उद्यमियों से बातचीत की। इस इकाई में करीब 600 व्यक्ति काम करते हैं जो सिलाई उद्योग में काम कर अपने तथा अपने परिवार का भरण-पोषण करते हैं। इस इकाई में टी शर्ट, जैकेट,लोअर, हुंडी जैकेट एवं टाप आदि तैयार किये जाते हैं। इसमें बच्चों, पुरुष एवं महिलाओं के लिए गारमेंट्स तैयार होते हैं।