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यूजीसी-मालवीय मिशन शिक्षक प्रशिक्षण केंद्र को शिक्षकों के समग्र प्रशिक्षण का केंद्र बनाया जाना चाहिए, सिर्फ अकादमिक परिसंवाद और प्रशिक्षण से समग्र विकास नहीं होगा- वैद्यनाथ यादव, शिक्षा सचिव

ध्रुव कुमार सिंह, मुज़फ़्फ़रपुर, बिहार, २२ दिसम्बर

बाबा साहेब भीमराव अंबेदकर बिहार विश्वविद्यालय के यूजीसी-मालवीय मिशन शिक्षक प्रशिक्षण केंद्र (यूजीसी- एमएमटीटीसी) के द्वारा आयोजित 95वें फैकल्टी इंडक्शन प्रोग्राम के समापन सत्र में बिहार के शिक्षा सचिव वैद्यनाथ यादव मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहे। सत्र की अध्यक्षता कुलपति प्रो.दिनेश चंद्र राय ने की, जबकि विशिष्ट अतिथि के रूप में कुलानुशासक प्रो.विनय शंकर राय और लंगट सिंह महाविद्यालय के प्राचार्य प्रो.ओम प्रकाश राय उपस्थित रहे। समापन सत्र में स्वागत भाषण करते हुए यूजीसी एमएमटीटीसी के निदेशक प्रो.राजीव कुमार झा ने कहा कि यह हम सब के लिए हर्ष की बात है कि शिक्षा विभाग के सचिव ने हमारे निमंत्रण को स्वीकार किया और पधारे। मुख्य अतिथि के रूप में बोलते हुए शिक्षा सचिव वैद्यनाथ यादव ने कहा कि विश्वविद्यालय के एमएमटीटीसी को शिक्षकों के समग्र प्रशिक्षण का केंद्र बनाया जाना चाहिए। सिर्फ अकादमिक परिसंवाद और प्रशिक्षण से समग्र विकास नहीं होगा। सुबह से ही दिनचर्या ऐसी बननी चाहिए कि योग, व्यायाम और नैतिक मूल्यों के लिए भी उसमे समावेश हो। इस अवसर पर शिक्षा सचिव ने कहा कि विश्वविद्यालय यदि प्रस्ताव भेजता है तो शिक्षा विभाग आधारभूत संरचना हेतु पूरा सहयोग करेगा। अपनें अध्यक्षीय भाषण में कुलपति प्रो.राय ने कहा की संकाय प्रेरण कार्यक्रम (एफआईपी) केन्द्रीय, राज्य, मानद विश्वविद्यालयों, निजी विश्वविद्यालयों, राष्ट्रीय महत्व के संस्थानों, महाविद्यालयों और अन्य उच्च शिक्षा संस्थानों (एचईआई) के संकाय सदस्यों के लिए तैयार किया गया है। यह उन्हें पाठ्यक्रम विकास, शिक्षण-अधिगम पद्धतियों, मूल्यांकन और मूल्यांकन तकनीकों, आईसीटी-सक्षम शिक्षण-अधिगम, और विश्वविद्यालय के नियमों और विनियमों, अन्य क्षेत्रों से परिचित कराता है। सभी नवनियुक्त शिक्षकों के लिए, फैकल्टी इंडक्शन प्रोग्राम (FIP) अनिवार्य है और नियुक्ति के एक वर्ष के भीतर इसे पूरा किया जाना चाहिए। सभी मॉड्यूल को पूरा करने के लिए 144 घंटे लगें, जिसमें कुछ प्रोजेक्ट वर्क और फील्ड विजिट/सर्वेक्षण भी शामिल थें। कार्यक्रम की अवधि 4 सप्ताह रही। कुलानुशासक प्रो. राय ने कहा कि विश्वविद्यालय का एमएमटीटीसी राष्ट्रीय फलक पर अपना स्थान बनाए इसके लिए हम सभी को मिलकर प्रयास करना चाहिए। इस अवसर पर लंगट सिंह महाविद्यालय के प्राचार्य प्रो.राय ने कहा कि सिर्फ आधारभूत संरचना से काम नहीं चलेगा आवश्यकता है कि हम सब मिलकर गुणवत्तापूर्ण शिक्षा हेतु प्रयास करें। एमएमटीटीसी के उप-निदेशक डॉ.राजेश्वर कुमार ने सभी अतिथियों का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि कुलपति के प्रयास से विश्वविद्यालय का यूजीसी एमएमटीटीसी काफी समृद्ध हो रहा है। इससे नए सहायक प्राध्यापको की प्रेरणा और ऊर्जा दोनों मिल रही है। कोर्स के समन्वयक और गणित विभाग के सहायक आचार्य डॉ.जितेश पति त्रिपाठी ने सत्र का संचालन किया और कहा कि हमारे लिए गर्व और गौरव की बात है कि उदघाटन सत्र में बिहार राज्य विश्वविद्यालय सेवा आयोग के अध्यक्ष प्रो.गिरीश कुमार चौधरी का सान्निध्य मिला और आज शिक्षा सचिव मुख्य अतिथि के रूप में निमंत्रण को स्वीकार कर पधारे हैं। मौके पर विश्वविद्यालय के महाविद्यालय निरीक्षक प्रो.राजीव कुमार, डॉ.नागेन्द्र पासवान, सोनू कुमार, ज्वाला कुमार और दिलीप कुमार सहित सभी प्रतिभागी उपस्थित रहे।

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